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वाराणसी, 22 फरवरी: (सीएमसी) डी डी वाई पी के कुलपति एवं प्रसिद्ध समाजसेवी डा प्रसाद दत्ता जी राव पाटिल ने विश्व प्रसिद्ध काशी विश्वनाथ जी मन्दिर में सैतालिस लाख रूपये की लागत का बना चांदी का कटघरा और जलधारा अर्पित किया है अब तक इस ज्योतिर्लिन्गम के पूजन में यहाँ लोहे का कटघरा प्रयोग किया जाता था!
विभिन्न सामाजिक कार्यो से जुड़े रहने वाले डा प्रसाद दत्ता जी राव पाटिल ने क्लीन मीडिया से बातचीत में बताया कि उन्होंने काशी में कई सारे धार्मिक कार्य किये है तथा अनेक मन्दिरों में अभिषेक भी किये है और वह वर्ष में तीन चार बार काशी अवश्य आते है महा मृत्युंजय मंदीर, कालभैरव मंदीर, विशालक्षी मन्दिर,श्री चिंता मणी गणेश जी मंदीर,संकटमोचन मंदीर, दुर्गा मंदीर के साथ ही इनकी कशी विश्वनाथ में अगाध श्रद्धा हैउन्हों ने कहा कि इस शिवरात्रि के अवसर पर उन्होंने सैतालिस लाख की लागत का 63 किलोग्राम का कटघरा एवं जलधारा काशी विश्वनाथ को समर्पित किया है उन्हों ने कहा कि अब वह प्रयास करेगे कि प्रतेक वर्ष वह काशी विश्वनाथ कि सेवा में समर्पित रहेगे A
उन्होंने कहा कि बाबा के दरबार में चांदी का कटघरा एवं जलधारा अर्पित कर के उनके मन को अत्यंत शांति और संतोष का अनुभव हुआ है यह संतोष इस तरह का आत्मिक संतोष है जिसका शब्दों में वर्णन नही किया जा सकता हैA
धार्मिक कार्यो से जुड़े हुए प्रश्न के उत्तर पर डा दत्ता जी राव पाटिल ने कहा कि वह पूर्व में अपने गृह जनपद में बाबा रामदेव, श्री श्री रविशंकर, स्वामी अड़गड़ानन्द, सदगुरु अनिरुद्ध जी बापू, सदगुरु माता अमृतानन्दमयी का सत्संग भी करा चुके है!
महाराष्ट्र के भक्त ने चढ़ाया सैतालिश लाख का चांदी का कटघरा
शरद वाजपई/ क्लीन मीडिया संवाददाता वाराणसी, 22 फरवरी: (सीएमसी) डी डी वाई पी के कुलपति एवं प्रसिद्ध समाजसेवी डा प्रसाद दत्ता जी राव पाटिल ने विश्व प्रसिद्ध काशी विश्वनाथ जी मन्दिर में सैतालिस लाख रूपये की लागत का बना चांदी का कटघरा और जलधारा अर्पित किया है अब तक इस ज्योतिर्लिन्गम के पूजन में यहाँ लोहे का कटघरा प्रयोग किया जाता था!
विभिन्न सामाजिक कार्यो से जुड़े रहने वाले डा प्रसाद दत्ता जी राव पाटिल ने क्लीन मीडिया से बातचीत में बताया कि उन्होंने काशी में कई सारे धार्मिक कार्य किये है तथा अनेक मन्दिरों में अभिषेक भी किये है और वह वर्ष में तीन चार बार काशी अवश्य आते है महा मृत्युंजय मंदीर, कालभैरव मंदीर, विशालक्षी मन्दिर,श्री चिंता मणी गणेश जी मंदीर,संकटमोचन मंदीर, दुर्गा मंदीर के साथ ही इनकी कशी विश्वनाथ में अगाध श्रद्धा हैउन्हों ने कहा कि इस शिवरात्रि के अवसर पर उन्होंने सैतालिस लाख की लागत का 63 किलोग्राम का कटघरा एवं जलधारा काशी विश्वनाथ को समर्पित किया है उन्हों ने कहा कि अब वह प्रयास करेगे कि प्रतेक वर्ष वह काशी विश्वनाथ कि सेवा में समर्पित रहेगे A
उन्होंने कहा कि बाबा के दरबार में चांदी का कटघरा एवं जलधारा अर्पित कर के उनके मन को अत्यंत शांति और संतोष का अनुभव हुआ है यह संतोष इस तरह का आत्मिक संतोष है जिसका शब्दों में वर्णन नही किया जा सकता हैA
धार्मिक कार्यो से जुड़े हुए प्रश्न के उत्तर पर डा दत्ता जी राव पाटिल ने कहा कि वह पूर्व में अपने गृह जनपद में बाबा रामदेव, श्री श्री रविशंकर, स्वामी अड़गड़ानन्द, सदगुरु अनिरुद्ध जी बापू, सदगुरु माता अमृतानन्दमयी का सत्संग भी करा चुके है!
visvnath jee ke visv bhar me hai......
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